By Shashi Shikha
एक अजी ब सी गुरगुरा हट से
मेरा दि ल जकड़ा जा रहा है,
मन वि चलि त, पां व सुन्न परे हैं
मैं खौ फ में हूँ, हूँ खौ फज़दा मैं .
हरदि न के, उगते सूरज की ला लि मा , के जी वन देने की ,गति का खौ फ है मुझे. हर शा म की , का ली रा त की , आरा म देने की क़ा बलि यत का त्रा स है. हर रो ज़, बि ना कि सी दुर्घटना के, अपने दफ्तर पहुँच जा ने का भय है , हर दि न, मेरी बेटी के सही सला मत घर लौ ट आने, का खौ फ है .
खौ फज़दा हूँ मैं
अपने उन तमा म दो स्तों , जा नका रों , और कला का रों के लि ए, जि नका मज़हब मुझसे जुदा है ,
खौ फज़दा से भी ज्या दा खौ फ तो मुझे इस बा त का है ,
की मुझे अपने ही मज़हब का हो ने का इत्मि ना न है
और संत्रा स
मुझे इस भहया व वर्तमा न के अती त का है ,
जि स अती त पर हमा रे अफजा इश नस्ल का वही सवा ल हो गा जो हमा रा है ! की क्या हम इसे बेहतर तरी के से सुलझा सकते थे?
क्या इस दुश्मनी की पैदा इश न हो ने पर हमा रा वश था ?
क्या हम कभी एक दुसरे के मर्म को समझ सकते हैं?हैं
क्या उनका सच और मेरा सच एक जैसा हो ना ज़रूरी है ? क्या उनका मज़हब और मेरा मज़हब एक हो ना ज़रूरी है? शा ही न बा ग़ की महि ला ओं के जैसे,
इस कड़कती ठण्ड में रा त भर सड़कपर बैठने का , खौ फ है मुझे अपने ही बेटे या बेटी के सर पर पड़े डंडे का खौ फ है.
एक वो दि न था , जब ज़मी न पर लकी र खिं च कर
मुल्कों को अलग कि या गया था .
आज वो दि न है, जब इंसा नी मा नसि कता पर लकी र खिं च कर - हमें अपने वि चा रों के लि ए अलग कौ म बना या जा रहा है . इस कौ म का रा जा कौ न और प्रजा कौ न?
इस कौ म में आज़ा दी कि सकी , बंदी कौ न ?
खौ फ है
मुझे हमा रे औला दों के हर सवा ल से ,
पर उससे भी खौ फज़दा हूँ मैं
इन सभी सवा लों पर मेरे को ई जवा ब न हो ने से .
अपने वि चा रों को व्यक्त न कर पा ने का खौ फ है मुझे
गलत हुई कि सी भी बा त के खि ला फ खड़े न हो पा ने का खौ फ है, खौ फ है मुझे की कि सी कट्टर मा नसि कता से अगर मेरा सा मना हो जा ये तो बा त की जगह कटा रि यां नि कलेंगी
मैं खौ फज़दा हूँ अपने ही वि चा रों पर सवा ल उठा ने से
और उन सवा लों का को ई जवा ब न पा ने से
और उन सभी सवा लों से हा र जा ने से .
मैं अपने अवा म, अपनी आने वा ली नस्ल,
अपने मुस्तकबि ल के लि ए खौ फ में हूँ
पर उससे भी खौ फज़दा मैं इस बा त से हूँ की
मेरे हर सवा ल को बर्बा द और मेरे हर डर को बेबुनि या द बता या जा येगा . -शशि
By Shashi Shikha
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