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झूठ का मोल

Updated: Apr 10, 2024

By Bushra Benazir ये दुनिया फरेबों का मेला है हर जगह यहाँ बङा झमेला है फरेबों के इस मेले की हर दुकान पर झूठ और धोखा बिकता है मै जिस जिस दुकान पर गई सच को एक पुरानी सी अलमारी में पड़ा पाया जब मैने उसका दाम पूछा दुकानदार झट से बोला क्या किजियेगा इतनी सस्ती चीज़ लेकर कब से पड़ी सड़ रही है इसे आजकल कोई नही खरिदता

एक और जो उसने इशारा किया ये ले जाइये ये आजकल बहुत बिक रहा है नज़रे घुमाकर जो मैने उस ओर देखा चमचमाता झूठ शीशे की अलमारियों से झाँक रहा था


By Bushra Benazir



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