By Neekhil Dedhia
ऐ वक़्त तू थम जा ज़रा,
तेरी खूबसूरती को मैं आँखों में कैद कर लू,
ज़िन्दगी के शोर शराबे में जब तुझको निहारौं,
तोह मैं फिर ज़रा सा जी लू ।
कल से फिर वही जदोजहद,
कल से फिर वही कश्मकश,
काम पर जाने का पूरा करो में फर्ज़,
चन्द दिनों की बेफिक्री का चुकाना हैं मुझे कर्ज़ ।
By Neekhil Dedhia
Comments