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सन्नाटे की धुन

Updated: Sep 16, 2023

By Falguni Saini



वो कोई दफ़्तर का क्षोभ नहीं वो तो सन्नाटे का शोर था, जो चुभता था मेरे कानों को। गरजता था किसी सागर से भरे बादल सा, गूंजता था किसी पर्वत से लगाई पुकारों सा। अचानक भरी भीड़ में से ले जाता था, मुझे कहीं पृथक द्वीप पर, डराता था किसी निर्दय दानव सा। मानों जैसे मेरे सबसे अनकहे अछूते खयालों की सूची में से कोई नाम निकाला हो, मेरी ही दुर्दशा का मैंने ही फ़रमान निकाला हो। मानों शब्द गले तक आकर भी खो जाते, कितनी दफा इस शोर के आगोश में ही हम सो जाते। जो सच न था वो भी दिखता, कभी गौर न किया जिसपर, वो भी खलता। साथ में हंसते खेलते दोस्तों को देखकर ही हम डर जाते, क्या हमारी जिंदगी अकेले ही कटेगी? इस सोच से ही भर आते। अपने खयालों को समेटकर रखा किसी तिज़ोरी में, अकेले ही न रह जाएं, इस भय से हम भी चले गए लोगों की हमजोली में।



पर यह कैसा मेला था? जहां साथ रहकर भी एक–दूसरे के लिए मन मैला था। पहले जिसकी कमी लगती थी, वही अब फिक्र की वजह बन गई। किसी भी तरह बात बनाए रखना जैसे एक सजा बन गई। प्रत्यक्ष के लिए भी प्रमाण देना हमे अखरने लगा, मन हमारा फिर से कतरा–कतरा बिखरने लगा। थोड़ा गिरते–संभलते बातें बनते बिगड़ते, हम यह समझ गए, कि जिसे छोड़ आए कांटों का बिस्तर समझकर, वही तो नरम बिछौना था। अब किसी और को पाकर खुदको नहीं खोना था। फिर खोली तिज़ोरी हमने, जहां रखे थे वो खयाल पुराने। मगर इस बार उन खयालों के खयाल हमने सही से पहचाने। जो दिख रहे थे भयानक प्रेत से, वो तो स्वर्ग के दूत थे। जिन्हे दिखा रहे थे डर बनाकर, उनके आगे तो उजालों के विशाल समंदर थे। जब खोले अपने नेत्र हमने, तो शांति की एक लहर थी। जिसमें दिव्य आनंद से भरे हम गोते खा रहे थे, सारे सुख चैन हमें अपने पास बुला रहे थे। ऊंचा था वो मंजर हमारा, फिर भी जमीन पर टिका था। मानों जीने का सही रास्ता, अभी ही हमें दिखा था। अरे सुनो! वो क्या है? नहीं–नहीं किसी संगीत की महफ़िल नहीं, वो तो सन्नाटे की धुन है। जिसकी मधुरता से मेरे कान अभी भी प्रसन्न हैं।


By Falguni Saini





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ਜੇ

16 Comments

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Krish
Krish
Sep 16, 2023
Rated 5 out of 5 stars.

Fabulous

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Falguni Saini
Falguni Saini
Sep 16, 2023
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Thanks

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Ankita Sharma
Ankita Sharma
Sep 16, 2023
Rated 5 out of 5 stars.

Well done 👏

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falguni
falguni
Sep 16, 2023
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Thnx😊

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Kiyan Saini
Kiyan Saini
Sep 16, 2023
Rated 5 out of 5 stars.

What a piece of art👌

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falguni
falguni
Sep 16, 2023
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Thnx

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Satendra Saini
Satendra Saini
Sep 16, 2023
Rated 5 out of 5 stars.

Great work

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falguni
falguni
Sep 16, 2023
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Thankyou

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Unknown member
Sep 15, 2023
Rated 5 out of 5 stars.

Nice choice of words!

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Falguni Saini
Falguni Saini
Sep 15, 2023
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Thanks a lot

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